रामपुर में कड़ाके की ठंड और शीतलहर की स्थिति को ध्यान में रखते हुए जिलाधिकारी अजय द्विवेदी ने जल्द से जल्द रैन बसेरों और शेल्टर होम को संचालित करने के निर्देश दिए हैं, ताकि बेघर, असहाय और जरूरतमंद लोगों को राहत मिल सके।
जिलाधिकारी ने कहा है कि किसी भी व्यक्ति को रात में सड़क या फुटपाथ पर सोने के लिए मजबूर न होना पड़े। इसके लिए जिले में पर्याप्त संख्या में रैन बसेरों की व्यवस्था की जाएगी।
इन रैन बसेरों में ठहरने वालों को मुफ्त में गद्दे, कंबल, साफ पेयजल, स्वच्छ शौचालय, किचन और भोजन उपलब्ध कराया जाएगा। जरूरत पड़ने पर आसपास अलाव की व्यवस्था भी की जाएगी।
प्रत्येक रैन बसेरे के लिए एक नोडल अधिकारी नियुक्त किया गया है, जबकि केयरटेकर की तैनाती भी अनिवार्य होगी, जिनका नाम, पद और मोबाइल नंबर गेट पर प्रदर्शित किया जाएगा। साथ ही इन जानकारियों को जिला आपदा प्रबंधन प्रकोष्ठ को भी भेजा जाएगा। अधिकारियों द्वारा रात में औचक निरीक्षण किए जाएंगे और निरीक्षण रजिस्टर में विवरण दर्ज होगा।
चिकित्यालयों, बस और रेलवे स्टेशनों, श्रमिक क्षेत्रों तथा प्रमुख बाजारों जैसे संभावित भीड़ वाले स्थानों पर रैन बसेरों का संचालन सुनिश्चित किया जाएगा। विशेष रूप से बाहर से इलाज या रोजगार के लिए आए लोगों को खुले स्थानों पर सोने से रोककर रैन बसेरों में ठहराया जाएगा।
सभी रैन बसेरों में प्रतिदिन सैनिटाइजेशन और फॉगिंग कराई जाएगी। आवश्यकता होने पर रैन बसेरों की संख्या बढ़ाने के साथ महिलाओं और पुरुषों के लिए अलग-अलग सोने और शौचालय की व्यवस्था भी की जाएगी। शीतलहर के दौरान सुरक्षा के मद्देनज़र रैन बसेरों की निगरानी भी मजबूत की जाएगी।
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